Shopping cart

Magazines cover a wide array subjects, including but not limited to fashion, lifestyle, health, politics, business, Entertainment, sports, science,

TnewsTnews
  • Home
  • National
  • पाकिस्तान का परमाणु अड्डा बना भूकंप का केंद्र: कराची में लगातार झटके, क्या बड़े खतरे की दस्तक?
National

पाकिस्तान का परमाणु अड्डा बना भूकंप का केंद्र: कराची में लगातार झटके, क्या बड़े खतरे की दस्तक?

Email :

कराची, पाकिस्तान: मंगलवार, 3 जून 2025, रात 11:55 बजे।

पाकिस्तान के सबसे बड़े शहर कराची में बीते कुछ दिनों से जमीन लगातार हिल रही है, जिसने पूरे देश में हड़कंप मचा दिया है। अब तक यहाँ 19 छोटे-छोटे भूकंप दर्ज किए जा चुके हैं, जिनमें से कई का केंद्र मालिर और कोरंगी जैसे घनी आबादी वाले इलाके रहे हैं। चिंता की बात यह है कि ये वही क्षेत्र हैं जहाँ से कुछ ही किलोमीटर की दूरी पर पाकिस्तान की परमाणु गतिविधियों से जुड़ी गोपनीय लोकेशन्स की आशंका जताई जाती है। ऐसे में यह सवाल जोर पकड़ रहा है कि क्या पाकिस्तान के एटॉमिक अड्डे पर कोई बड़ा और अनजाना खतरा मंडरा रहा है?

पहला भूकंपीय झटका सोमवार आधी रात को दर्ज किया गया था, जिसका केंद्र मालिर के नजदीक लगभग 40 किलोमीटर की गहराई में था। इसके बाद मंगलवार सुबह तक कुल 19 छोटे-मोटे झटके महसूस किए जा चुके हैं। इनमें से कुछ झटकों की तीव्रता 3.4 तक दर्ज की गई, जो कि हल्के भूकंप माने जाते हैं। हालाँकि, इन झटकों की बारंबारता (लगातार आना) और उनकी लोकेशन ने सभी को गहरी चिंता में डाल दिया है।

धरती क्यों कांप रही है?

पाकिस्तान मौसम विभाग के सिस्मिक मॉनिटरिंग सेंटर के मुताबिक, इन सभी भूकंपीय झटकों का मुख्य कारण कराची की लांधी फॉल्ट लाइन का सक्रिय होना है। विभाग के मुख्य मौसम विज्ञानी आमिर हैदर ने बताया कि यह फॉल्ट लाइन दशकों बाद सक्रिय हुई है और इसमें से धीरे-धीरे ऊर्जा निकल रही है। हालांकि, उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि यह एक सामान्य भूगर्भीय प्रक्रिया है और इससे किसी बड़े भूकंप के आने की संभावना कम है।

एटॉमिक कनेक्शन का संदेह!

मगर जिस संवेदनशील इलाके में ये झटके महसूस हो रहे हैं, वहीं के आसपास पाकिस्तान की गुप्त परमाणु परियोजनाओं की मौजूदगी को लेकर लंबे समय से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर संदेह रहा है। ऐसे में यह सवाल उठना लाज़मी है कि क्या इस अचानक बनी भूकंपीय हलचल का कोई सीधा संबंध पाकिस्तान की एटॉमिक एक्टिविटी से तो नहीं? विशेषज्ञों का मानना है कि यदि इस तरह की जमीन में लगातार हलचल होती रही, तो सुरक्षा के लिहाज से यह एक बड़ा खतरा बन सकता है, खासकर संवेदनशील परमाणु प्रतिष्ठानों के लिए।

पाकिस्तान में डर का माहौल:

लगातार आ रहे इन झटकों के कारण लोगों में डर का माहौल है, खासकर मालिर, लांधी, कोरंगी और क्वैदाबाद जैसे इलाकों में। जहाँ पहले से ही कई इमारतों की हालत जर्जर है, वहाँ लगातार आने वाले भूकंपों से दीवारों में नई दरारें आने लगी हैं। आम जनता की चिंता बढ़ गई है कि कहीं ये छोटे-छोटे झटके किसी बड़े और विनाशकारी खतरे की दस्तक तो नहीं हैं। लोगों ने प्रशासन से अपनी इमारतों की मजबूती की जांच करने और भूकंप की स्थिति में बचाव के प्रभावी उपायों को लेकर ठोस कदम उठाने की मांग की है।

फिलहाल, पाकिस्तान सरकार और मौसम विभाग ने लोगों से घबराने की बजाय सतर्क रहने की अपील की है। लेकिन यह भी तय है कि कराची का यह अचानक बना भूकंपीय केंद्र, जो परमाणु गतिविधियों के कथित तौर पर बेहद करीब है, आने वाले दिनों में और भी ज्यादा चर्चाओं में रहने वाला है। यह देखना दिलचस्प होगा कि पाकिस्तान इस अप्रत्याशित भूगर्भीय संकट को किस तरह संभालता है, और क्या यह केवल एक प्राकृतिक भूगर्भीय घटना है या इसके पीछे कुछ और भी छुपा है?

img

खबर भेजने के लिए व्हाट्स एप कीजिए +919412777777 [email protected]

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Related Posts